देवेन्द्रवाणी न्यूज,बीकानेर। राज्य सरकार आधी अधूरी तैयारी के साथ राष्ट्रीय शिक्षा नीति को धरातल पर लाने की तैयारी में है। लेकिन सामान्य शिक्षा से उधारी के शिक्षकों के भरोसे इस थीम को मजबूती मिलना संभव नहीं है। बाल वाटिका के लिए अंग्रेजी माध्यम के शिक्षकों की नई भर्ती करने के बाद बाल मनोविज्ञान का विशेष प्रशिक्षण देकर प्रशिक्षित शिक्षकों को बच्चों के सामने भेजना चाहिए था। बाल वाटिका की थीम अपने शैशवकाल में ही समुदाय कि उपेक्षा की भेंट चढ़ सकती है। 925 महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में 15 दिसम्बर तक प्रवेश आवेदन लिए जाएंगें।
925 महात्मा गांधी स्कूलों से की शुरूआत
जानकारी के अनुसार जुलाई 2020 में केंद्र सरकार की ओर से पारित राष्ट्रीय शिक्षा नीति को प्रदेश में लागू करने की तैयारी की जा रही है। राष्ट्रीय शिक्षा नीति 2020 में तीन से आठ साल तक के बच्चे फाउंडेशन स्टेज के तहत आंगनबाड़ी केंद्रों में अध्ययन करेंगे। इस क्रम में तीन से छह साल तक बाल वाटिका के तहत नर्सरी, एलकेजी, एचकेजी में बच्चे पढ़ेंगें। इसकी शुरूआत 925 महात्मा गांधी अंग्रेजी माध्यम स्कूलों में प्रवेश प्रक्रिया शुरू कर सरकार ने कर दी है।
चार घंटे लगेगी प्री प्राइमरी कक्षाएं
बाल वाटिका प्री प्राइमरी की कक्षाएं केवल चार घंटे लगेगी। इसके लिए सर्दियों में एक अक्टूंबर से 31 मार्च तक सुबह 10 से दोपहर दो बजे तक एवं गर्मियों में एक अप्रैल से 30 सितंबर तक सुबह 8 से 12 तक कक्षाएं संचालित होंगी। सप्ताह में सोमवार से शुक्रवार तक कक्षाएं लगेगी। शनिवार व रविवार को अवकाश रहेगा।
6 जनवरी से प्री प्राइमरी कक्षाएं शुरू
16 सितंबर को प्राप्त आवेदनों की सूची नोटिस बोर्ड पर चस्पा की जाएगी। इसमें प्री प्राइमरी की कक्षा नर्सरी, एलकेजी और एचकेजी में 25-25 सीटें निर्धारित की गई हैं। 21 दिसंबर को प्राप्त आवेदनों की लॉटरी निकाली जाएगी। 22 दिसंबर को चयनित विद्यार्थियों की सूची नोटिस बोर्ड पर चस्पा कर 23 को प्रदेश के लिए कागजी कार्रवाई शुरू कर दी जाएगी। छह जनवरी 2023 से प्री प्राइमरी के लिए कक्षाएं शुरू कर दी जाएगी।