नागौर, बिहार के गोपालगंज से महज 300 रुपए लेकर नाबालिग लड़की और लड़का ट्रेन के जनरल कोच में चढ़ गए। 1125 किलोमीटर दूर नागौर के मकराना में उन्हें पकड़ लिया गया। 4 दिन दोनों भूखे-प्यासे रहे। कई बार टॉयलेट में सफर किया। हजार किलोमीटर के सफर में 170 रुपए खर्च किए। हालात ऐसे हो गई कि दोस्ती और प्यार भूलकर अब ये घर जाना चाहते हैं। राजस्थान के नागौर में ‘बचपन के प्यार’ का मामला सामने आया है। एक-दूसरे की खातिर 14 साल की लड़की और 16 साल का लड़का बिहार के गोपालगंज से भागकर राजस्थान के नागौर पहुंच गए। दोनों 21 जुलाई को घर से भागे थे। भूखे-प्यासे बेटिकट ट्रेन के जनरल कोच के टॉयलेट में बैठकर सफर करते रहे। सोमवार शाम दोनों को मकराना रेलवे स्टेशन पर RPF ने पकड़ लिया।

बाल कल्याण समिति के सामने पेश किया
आरपीएफ ने चाइल्ड लाइन टीम से संपर्क किया और मामले की जानकारी दी। चाइल्ड लाइन टीम मेंबर बबिता कंवर नागौर से मौके पर पहुंची और दोनों से बात की। सोमवार देर रात दोनों CWC (बाल कल्याण समिति) के सामने पेश किया। जहां से लड़की को वन स्टॉप सखी सेंटर व लड़के को बाल सम्प्रेषण गृह में भेज दिया गया। दोनों के परिजनों को भी सूचना दी गई है।

लड़की के पिता ने साथ देखा तो डरे
चाइल्ड लाइन टीम मेंबर बबिता कंवर ने बताया कि लड़का बिहार के गोपालगंज जिले के धरौती गांव का रहने वाला है। लड़की वहां से 1 किलोमीटर दूर गांव लाला पचमावां की रहने वाली है। लड़के की भुआ लड़की के गांव में रहती है। ऐसे में लड़के का वहां आना-जाना था। दोनों एक दूसरे को पसंद करने लगे। 21 जुलाई को लड़की के पिता ने लड़के और लड़की को एक साथ देख लिया था। इससे वो दोनों डर गए। इसके बाद घबराकर दोनों 21 जुलाई की दोपहर 12 बजे घर से भाग गए। वहां से जो ट्रेन मिली उसमें चढ़ गए।

300 रुपए लेकर भागे, 170 खर्च
लड़के ने बताया कि दोनों के पास महज 300 रुपए थे। उन्होंने ट्रेन का सफर जनरल कोच के टॉयलेट में बैठकर किया। तीन-चार जगहों पर ट्रेनें भी बदलीं। उन्हें स्टेशनों के नाम याद नहीं हैं। रास्ते में 170 रुपए खर्च किए। उन्होंने कहा कि भागते-भागते वे परेशान हो गए हैं। उन्हें मकराना रेलवे स्टेशन पर RPF ने पकड़ लिया। इसके बाद RPF ने उन्हें रेलवे स्टेशन पर एक कमरे में ले जाकर बैठा दिया। चाइल्ड लाइन टीम मेंबर बबिता कंवर ने बताया कि आरपीएफ से सूचना मिलते ही सोमवार देर रात मकराना रेलवे स्टेशन पहुंची। दोनों मासूमों से बात की तो पूरा मामला पता चला। दोनों को अपने किए पर अब पछतावा है और वो घर जाना चाहते हैं। देर रात उन्हें CWC के समक्ष पेश कर दिया गया है। परिजन देर रात तक नागौर पहुंच सकते हैं।