जयपुर। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने केन्द्र की मोदी सरकार पर एक बार फिर हमला बोला है। उन्होंने सोशल मीडिया पर कहा कि कोरोना महामारी के दौर में केंद्र सरकार द्वारा डीजल, पेट्रोल और रसोई गैस के दामों में बढ़ोत्तरी करना आम आदमी के साथ विश्वासघात है। देश में जब यूपीए सरकार थी, उस दौरान अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमतें 120 डॉलर प्रति बैरल थी। लेकिन पेट्रोल, डीजल के दाम 70 रुपए प्रति लीटर थे। मोदी सरकार के कार्यकाल में अंतरराष्ट्रीय बाजार में कच्चे तेल की कीमत 50 डॉलर प्रति बैरल से भी कम पहुंच गई है। लेकिन, मोदी सरकार डीजल, पेट्रोल के दाम लगातार बढ़ा रही ही है। जब देश के किसी राज्य में चुनाव होते हैं तो केंद्र सरकार डीजल, पेट्रोल के दामों को स्थिर कर देती है लेकिन चुनाव खत्म होते ही पुन: दाम बढ़ा देती है।
आम लोगों का बिगड़ा बजट
सीएम अशोक गहलोत ने कहा कि रसोई गैस के दामों में कल 50 रुपए की बढ़ोत्तरी कर मोदी सरकार ने आमजन का बजट बिगाड़ दिया है। केंद्र सरकार ने रसोई गैस सब्सिडी को खत्म कर दिया है। जिससे उज्ज्वला योजना में कनेक्शन पाने वाले गरीब लोग भी अपना सिलेंडर रिफिल नहीं करा पा रहे हैं। कोरोना काल में जब सरकार को लोगों की मदद करनी चाहिए थी, तब मोदी सरकार लोगों को महंगाई के बोझ तले दबा रही है। केंद्र सरकार को कच्चे तेल की कम कीमत का फायदा आमजन को देने के लिए डीजल, पेट्रोल और रसोई गैस के दाम कम करने चाहिए।