अजमेर में शव निकालने के लिए खुदाई करते श्रमिक व मौजूद पुलिस - Dainik Bhaskar
अजमेर में शव निकालने के लिए खुदाई करते श्रमिक व मौजूद पुलिस

अजमेर,

अजमेर के वैशाली नगर में रहने वाली महिला की मौत के ढाई बाद उसकी लाश को कब्र से निकाला गया। बाद में क्रिश्चयन गंज थाना पुलिस ने मौके पर ही मेडिकल टीम को बुलाया और यहीं पर पोस्टमार्टम कराया जा रहा है। मृतका की मां की ओर से ससुराल पक्ष पर हत्या का आरोप लगाने के बाद पुलिस ने यह कार्रवाई की।

मृतका की आगरा निवासी मां सुशीला मसीह
मृतका की आगरा निवासी मां सुशीला मसीह

जानकारी के अनुसार, छतरी योजना वैशाली नगर अजमेर निवासी आशीषपाल सिंह की पत्नी मारिया (29) की 3 नवम्बर 2020 को मौत हो गई थी। जिसे रॉबसन मेमोरियल सीमेटरी में दफनाया गया। ढाई माह बाद अब सेन्टर 13, आकाश विकास कॉलोनी, आगरा निवासी मां सुशीला मसीह ने अजमेर पहुंचकर अपनी 29 वर्षीय बेटी मारिया की हत्या का आरोप लगाया है। साथ ही कहा कि उनकी बेटी को न्याय मिलना चाहिए।

इसके बाद क्रिश्चयन गंज थाना प्रभारी रवीश सामरिया सहित पुलिस टीम मौके पर पहुंची और श्रमिकों से खुदाई कराकर शव को बाहर निकाला गया। इस दौरान जवाहर लाल नेहरू चिकित्सालय से भी मेडिकल टीम को बुला लिया गया और पोस्टमार्टम किया जा रहा है।

इसलिए ढाई माह बाद लगाए आरोप
मां सुशीला ने बताया कि जब उसकी बेटी की मौत हुई तो उसे यह कहकर बुलाया कि मारिया बीमार है और उसे अस्पताल में भर्ती कराया है। यहां आने पर मौत का पता चला ​तो वह बेहोस हो गई। बाद में उसे दफना दिया। अब उसे पता चला है कि उसकी बेटी को जहर देकर मारा गया, इसलिए उसने जांच की मांग की।

पांच साल पहले हुई शादी, एक बेटा व एक बेटी
मां सुशीला ने बताया कि उनकी बच्ची मारिया की शादी पांच साल पहले छतरी योजना वैशाली नगर अजमेर निवासी आशीष पाल सिंह के साथ हुई। उसके एक ढाई साल का बेटा अभिषेक व चार साल की बेटी महिमा है। अभिषेक पिता के पास रहता है, जबकि महिला शुरू से ही उनके पास आगरा में रहती है।

शादी के बाद से ही किया परेशान, दवाई भी नहीं दिलाते
मां सुशीला ने बताया कि शादी अजमेर के चर्च में हुई और शादी में पांच लाख रुपए और 100 किलो पेठा लिया। शादी के बाद ही उसके गहने आदि उतार लिए और दुख देना शुरू कर दिया। महिने में दो दो बार घर से निकाल देते थे। मारते थे और भूखी प्यासी रखते थे। दवाई भी नहीं दिलाते थे। ऐसे में मारिया बीमार भी रहने लगी।