जयपुर। स्कूल शिक्षा विभाग ने मंगलवार को वर्तमान सत्र के लिए परीक्षा, कक्षोन्नति का पैटर्न जारी कर 12 कक्षाओं को चार समूह में बांटा गया है। 9वीं से 12वीं तक के विद्यार्थियों को सप्ताह में एक बार स्कूल आना होगा। जिसमें गृहकार्य के साथ लैब में प्रायोगिक कार्यवाही करवाई जाएगी। हालांकि, इसे अनिवार्य नहीं कर जिज्ञासा समाधान और मार्गदर्शन के दौरान स्कूल आने वाले विद्यार्थियों के लिए बताया गया है। गैर सरकारी विद्यालयों में भी यही पैटर्न लागू होगा।
संशोधित पाठ्यक्रम बोर्ड वेबसाइट पर
बोर्ड परीक्षाएं 15 मई के बाद तथा अन्य परीक्षाएं निर्धारित समयावधि में ही होंगी। संशोधित पाठ्यक्रम बोर्ड व आरएससीईआरटी की वेबसाइट पर उपलब्ध है। परीक्षा सभी कक्षाओं में होगी। ऑनलाइन अध्ययन नहीं करने वाले विद्यार्थियों के अभिभावकों को कोरोना गाइडलाइन की पालना करते हुए विद्यालय बुलाकर गृह कार्य दिया जा सकेगा। आओ घर से सीखें कार्यक्रम से ही बच्चे सीखेंगे। फरवरी 2021 में बच्चों को गतिविधि आधारित कार्य पुस्तिकाएं दी जाएंगी। ये कार्य पुस्तिकाएं स्माइल-2 के तहत दिए गए गृहकार्य से तैयार पोर्टफोलियो, वार्षिक परीक्षा का भाग होंगे। वार्षिक परीक्षा में आंतरिक मूल्यांकन 40 प्रतिशत अंकों का होगा। शेष 60 फीसदी में से दस प्रतिशत अंक, मौखिक परीक्षा व 50 प्रतिशत अंक लिखित परीक्षा के होंगे। आठवीं कक्षा के विद्यार्थियों के लिए बोर्ड परीक्षा का आयोजन किया जाएगा।
कक्षा 3 से 5

पांचवी कक्षा में बोर्ड परीक्षा करवाई जाएगी। हर कक्षा में कक्षोन्नति का आधार वार्षिक परीक्षा रहेगी। इन कक्षाओं में भी कार्य पुस्तिकाएं दी जाएंगी। निजी स्कूल संशोधित पाठ्यक्रम के अनुसार गृहकार्य तैयार कर विद्यार्थियों को उपलब्ध करवाएंगे। वार्षिक परीक्षा में 50 फीसदी अंक आंतरिक मूल्यांकन, 10 प्रतिशत अंक मौखिक परीक्षा व 40 फीसदी अंक लिखित परीक्षा के होंगे।
कक्षा 1-2

संस्था प्रधान प्रत्येक विद्यार्थी तक एटग्रेड कार्य-पुस्तिका पहुंचाएंगे। संबंधित शिक्षक और अभिभावकों की सहायता से विद्यार्थी इन कार्य पुस्तिकाओं को पूरा करेंगे। जिनके आधार पर ही कक्षोन्नति करवाई जाएगी।
कक्षा 9 से 12

जिज्ञासा समाधान के अतिरिक्त स्कूल आने पर दिए जाने वाले गृहकार्य से ही आंतरिक मूल्यांकन होगा। कक्षोन्नति का आधार वार्षिक या बोर्ड परीक्षा होगी। परीक्षा में 20 प्रतिशत अंक आंतरिक मूल्यांकन व 80 प्रतिशत लिखित परीक्षा के होंगे। वहीं 11वीं 12वीं में प्रायोगिक विषयों में आंतरिक मूल्यांकन के अतिरिक्त शेष अंकों का 20 फीसदी होगा। प्रायोगिक परीक्षा के लिए सप्ताह में एक बार प्रयोगशाला में अवसर। इस साल परीक्षा में बहु वैकल्पिक प्रश्न होंगे, निबन्धात्मक कम रहेंगे। नए पैटर्न के अनुरुप मॉडल प्रश्न पत्र 15 जनवरी के बाद उपलब्ध करवाए जाएंगे