जयपुर, बार काउंसिल के पूर्व चेयरमैन संजय शर्मा की रोड एक्सीडेंट में रविवार शाम मौत हो गई। बुजुर्ग मम्मी-पापा और छोटी बेटी को घर छोड़कर वह पत्नी के साथ एक प्रोग्राम में शामिल होने बीकानेर गए थे। दिनभर साथी एडवोकेट्स से मोबाइल पर फ्रेंडशिप-डे की बधाई चल रही थी। बेटी के एग्जाम होने के कारण जाते समय बोला था कि पेपर अच्छा करके आना। मुझे कॉल कर बताना, मैं सोमवार रात तक घर लौट आऊंगा। सोमवार सुबह आई तो पिता की लाश। संजय के शव को देखकर परिजन फूट-फूटकर रोने लगे। बार काउंसिल के पूर्व चेयरमैन संजय शर्मा (54) मूलत: बयाना के रूपवास के रहने वाले थे। वह गोपालपुरा बाईपास पर त्रिवेणी नगर चौराहे पर फैमेली के साथ रहते थे। उनकी फैमेली में उनके पिता ओमप्रकाश, मम्मी और पत्नी, बेटा-बेटी थी। बार काउंसिल के पूर्व चेयरमैन रहे संजय हसमुख और मददगार थे। उनका बेटा यशवर्धन (22) की बैंगलोर में अभी इंजीनियरिंग कंपनी में जॉब लगी थी। उनकी बेटी पदमजा (14) 8वीं क्लास में पढ़ती है। रविवार शाम संजय की मौत के बारे में बेटे को सूचना दी गई। संजय के माता-पिता और बेटी को रोड एक्सीडेंट के बारे में बताया तक नहीं गया।

बोले थे- मंगलवार शाम को आ जाऊंगा
सोमवार को बेटी पदमजा का एग्जाम था। बेटी के एग्जाम को लेकर वह चिंतित थे। जाते समय ड्राइवर को संजय ने कहा था कि बेटी का एग्जाम दिलाकर घर लाना है। रविवार सुबह घर पर बुजुर्ग मां-बाप और बेटी थी। प्रोग्राम में जाने से पहले संजय ने बेटी पदमजा को कहा कि एग्जाम अच्छे से देना। मुझे कॉल कर बताना कैसा पेपर रहा। मंगलवार शाम तक घर लौट आऊंगा, फिर बात करेंगे। एक्सीडेंट में संजय की मौत और शालिनी के हॉस्पिलाइज होने के बारे में सिर्फ बेटे यशवर्धन को बताया गया। पता चलने पर बेटा बैंगलोर से जयपुर के लिए रवाना हो गया। सोमवार सुबह संजय का शव जयपुर स्थित घर पहुंचने पर रोड एक्सीडेंट का पता चला। मां-बाप और बेटी सहित अन्य परिजनों का रो-रोकर बुरा हाल हो गया। संजय के भाई पीके शर्मा ने बताया कि जयपुर से निकलने से पहले संजय ने फोन किया था। कहा था शालिनी के साथ बीकानेर कार्यक्रम में जा रहा हूं। पापा को ध्यान से दवा दे देना।

फ्रेंडशिप-डे वीस मैसेज का भी नहीं दिया जबाव
फ्रेंडशिप-डे होने के कारण साथी एडवोकेट्स ने संजय को वॉट्सऐप मैसेज कर बधाई दी थी। अक्सर वह हर मैसेज और कॉल का जबाव देते थे। फ्रेंडशिप-डे मैसेज के सैकड़ों एडवोकेट साथियों ने बधाई भेजी। ट्रेवल्स में होने के कारण संजय ने मैसेज देखे, लेकिन रिपलाई नहीं किया। मैसेज का जबाव नहीं मिलने पर एडवोकेट साथियों का मानना था कि वह किसी सफर में है। ऐसा उनके साथ होगा, कोई सोच भी नहीं सकता था।

एडवोकेट्स ने किए न्यायिक कार्य स्थगित
पूर्व चेयरमैन संजय शर्मा की मौत का पता चलने पर एडवोकेट साथियों में दुख का माहौल फैल गया। बार एसोसिएशन के पूर्व महासचिव संदीप ने बताया कि बीकानेर एक्सीडेंट में साथी संजय की मौत का पता चलते ही दुखद माहौल हो गया। सोमवार को सभी एडवोकेट संजय की एक्सीडेंट में मौत को लेकर एक दिन न्यायिक कार्य स्थगित रखा।