देवेंद्र वाणी न्यूज़,
जोधपुर के तखत सागर जलाशय में 6 दिन पहले डूबे सेना के कैप्टन अंकित गुप्ता का शव आखिरकार मंगलवार दोपहर मिल गया। उन्हें खोजने के लिए सेना ने देशभर से अपने विशेषज्ञों, गोताखोरों और कमांडोज को बुलाया था। पिछले पांच दिन में टीम उन्हें नहीं खोज सकी थीं। लेकिन, मंगलवार को दोपहर बाद उनका शव तखत सागर की गहराई में एक जगह फंसा हुआ मिला।
जानकारी के मुताबिक, कैप्टन गुप्ता का शव पत्थरों के बीच अटक गया था। इस वजह से वह पानी के ऊपर नहीं आ पाया। मंगलवार को रेस्क्यू टीम की तरफ से पानी में डाला गया एंकर उनकी ड्रेस में फंस गया। इसके बाद बॉडी निकाली जा सकी। हालांकि, सेना ने इस बारे में कोई भी जानकारी शेयर करने से इनकार कर दिया है।
अभ्यास के दौरान 6 दिन पहले डूबे थे कैप्टन गुप्ता
कैप्टन अंकित गुप्ता 6 दिन पहले एक अभ्यास के दौरान हेलिकॉप्टर से तखत सागर में कूदे थे। उन्हें खोजने पहुंचे सेना के एक्सपर्ट 51 फीट तक पानी से भरे तखत सागर में सर्चिंग कर रहे थे। सर्च ऑपरेशन से जुड़े लोगों का कहना है कि पानी में डूबा कोई भी व्यक्ति आमतौर पर तीसरे दिन तक हर हालत में ऊपर आ जाता है। लेकिन, कैप्टन अंकित के मामले में ऐसा नहीं हो पाया। उनका तर्क है कि कैप्टन ने पानी में कूदते समय सेना की मजबूत जैकेट और वर्दी पहन रखी थी। वर्दी की यही मजबूती उनके शरीर को ऊपर लाने में बाधक बनी। शव मिलने के बाद एक्सपर्ट्स का अनुमान सही साबित हुआ।
तखत सागर की बनावट से सर्चिंग में मुश्किल हुई
जोधपुर में जल संकट के दौरान तखत सागर को खाली देख चुके जल प्रदाय विभाग के रिटायर्ड कर्मचारी श्यामसिंह का कहते हैं कि इसकी बनावट प्राकृतिक होने के साथ काफी जटिल है। कई जगह इसमें गुफानुमा कोटर बने हुए हैं। हालांकि ये ज्यादा गहरे नहीं है, लेकिन अगर शव इनमें एक बार अटक जाए तो फिर आसानी से नजर नहीं आता।
ऐसे हुआ था हादसा
पैरा कमांडो स्पेशल फोर्सेज का पूरे साल अभ्यास चलता रहता है। डेजर्ट वारफेयर में महारत रखने वाली 10 पैरा के कमांडो को एक हेलिकॉप्टर से पहले अपनी बोट को पानी में फेंककर खुद कूदना था। इसके बाद उन्हें बोट पर सवार होकर दुश्मन पर हमला बोलना था। उस दिन (गुरुवार को) कैप्टन अंकित के नेतृत्व में 4 कमांडो ने तखत सागर में पहले अपनी नाव को फेंका और उसके बाद खुद पानी में कूद गए।
एक्सरसाइज में शामिल हुए तीन कमांडो तो नाव पर पहुंच गए, लेकिन कैप्टन अंकित नहीं पहुंच पाए। उनके साथी कमांडोज ने खुद भी पानी में उतर कर खोज शुरू की। कमांडोज ने घटना की सूचना जोधपुर मुख्यालय को दी। इसके बाद स्पेशलिस्ट्स की टीम ने रेस्क्यू अभियान शुरू किया।
परिवार की इच्छा के मुताबिक होगा अंतिम संस्कार
कैप्टन अंकित के शव को सीधे सेना अस्पताल ले जाया गया। उनके परिजन को सूचना दे दी गई है। उन्हें भी सेना अस्पताल ही ले जाया जा रहा है। अभी यह साफ नहीं है कि उनका अंतिम संस्कार जोधपुर में किया जाएगा या गुरुग्राम में। परिजनों की इच्छा के मुताबिक ही सेना फैसला करेगी।