जयपुर। राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के सलाहकार और निर्दलीय विधायक संयम लोढ़ा ने मंगलवार को अपनी ही सरकार के शिक्षामंत्री डॉ.बी.डी.कल्ला को घेर लिया। विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान लोढ़ा ने पैराटीचर्स से जुड़ा एक सवाल पूछते हुए कहा कि कांग्रेस के चुनाव घोषणा पत्र में पैराटीचर्स, शिक्षाकर्मियों, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और पंचायत सहायकों को नियमित करने का वादा किया गया था। लेकिन अब तक इस वादे को पूरा नहीं किया गया है। इस पर कल्ला ने जवाब देते हुए कहा कि पैराटीचर्स पहले की तरह ही काम कर रहे हैं, इन्हें संविदा कर्मचारी का दर्जा देने की परम्परा नहीं हैं। पैराटीचर्स का मानेदय 10 फीसदी बढ़ाया गया है।
मंत्री के इस जवाब पर लोढ़ा ने कहा कि कांग्रेस ने अपने घोषणा पत्र में वादा किया और अब कहा जा रहा है कि यह परम्परा नहीं है। आप लोगों के साथ धोखा कर रहे हैं। लोढ़ा ने कल्ला पर निशाना साधते हुए कहा कि आप मंत्रिमण्डलीय उप समिति के अध्यक्ष हैं और आपको यही पता नहीं है कि घोषणा पत्र में क्या लिखा था? इस पर मंत्री ने कहा कि समिति की रिपोर्ट बन रही है। उसकी रिपोर्ट पहले मंत्रिमण्डल में रखी जाएगी, उसके बाद कोई निर्णय होगा ।
उल्लेखनीय है कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के सलाहकार और निर्दलीय विधायक संयम लोढ़ा ने मंगलवार को अपनी ही सरकार के शिक्षामंत्री डॉ.बी.डी.कल्ला को घेर लिया। विधानसभा में प्रश्नकाल के दौरान लोढ़ा ने पैराटीचर्स से जुड़ा एक सवाल पूछते हुए कहा कि कांग्रेस के चुनाव घोषणा पत्र में पैराटीचर्स, शिक्षाकर्मियों, आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं और पंचायत सहायकों को नियमित करने का वादा किया गया था। लेकिन अब तक इस वादे को पूरा नहीं किया गया है। लोढ़ा सहित छह विधायकों को सीएम ने करीब एक महीने पहले ही अपना सलाहकार बनाया है। मुख्यमंत्री अशोक गहलोत के सलाहकार संयम लोढ़ा द्वारा अपनी ही सरकार के मंत्री को घेरने को लेकर भाजपा विधायकों ने कहा कि सरकार में शामिल लोगों को ही मंत्री पर विश्वास नहीं है।