मूल्यनिष्ठ पत्रकारिता के पुरोधा थे श्याम आचार्य

बीकानेर। मूल्यनिष्ठ पत्रकारिता के पुरोधा थे श्यामजी! उनकी लेखनी ने निडरता के साथ उन सभी समस्याओं को उठाया जिनसे आम आदमी परेशान रहता है। उन्होंने अपनी पत्रकारिता में पीडि़तों की पैरवी की। यह बात वरिष्ठ पत्रकार लूणकरण छाजेड़ ने वरिष्ठ पत्रकार श्याम आचार्य के निधन पर बीकानेर प्रेस क्लब की ओर से आयोजित शोकसभा के दौरान कही।

छाजेड़ ने कहा कि आचार्य में जितना अपनापन था। वो सभी के लिये मिशाल है। हमें उनके आदर्शों को अपनाना चाहिए। वरिष्ठ पत्रकार शिवचरण शर्मा ने कहा कि सही अर्थों में एक सच्चे पत्रकार थे। उन्होंने अपनी सशक्त लेखनी के माध्यम से ज्वलंत मुद्दों को उठाते हुए सरकारों का ध्यान भी आकर्षित किया है। पूर्व अध्यक्ष श्याम मारू ने कहा कि उन्होंने जीवन पर्यंत पत्रकारिता के धर्म को निभाया है। सही मायने वे पत्रकारिता के विश्वविद्यालय थे। जिनसे बहुत कुछ सीखने को मिला। जार के राष्ट्रीय कार्यकारिणी सदस्य भवानी जोशी ने कहा कि उन्होंने जनसरोकारों की लड़ाई लड़ते हुए पूरी निडरता और निष्पक्षा के साथ पत्रकारिता की।

प्रेस क्लब अध्यक्ष अनुराग हर्ष ने कहा कि उनकाकार्य के प्रति समर्पण भाव तथा उसको पूुरा करने की दृढ़ इच्छा शक्ति उनके व्यक्तित्व में शामिल वो गुण कुदरत की देन ही कहा जा सकता है। इस मौके पर हर्ष ने श्याम आचार्य व बजरंग शर्मा की स्मृति में क्लब की ओर से प्रतिवर्ष पुरस्कार देने की घोषणा भी की। इस अवसर पर महासचिव मनीष पारीक,कोषाध्यक्ष उमाशंकर आचार्य,हनुमान चारण,जयनारायण बिस्सा,तोलाराम उपाध्याय,मो अली पठान,जितेन्द्र व्यास,रमजान मुगल,मुकेश पूनियां,रफीक पठान,शिव भादाणी,राजेश छंगाणी,गिरीराज भादाणी,विवेक मित्तल,मोहन कड़ेला,के कुमार आहुजा सहित अनेक पत्रकारों ने आचार्य के तेलचित्र पर पुष्पाजंलि अर्पित कर दो मिनट का मौन रखा।

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