बीकानेर. सुपर स्पेशियलिटी यूनिट में परेशानियां खत्म होने का नाम नहीं ले रही हैं। प्रतिदिन कोई न कोई समस्या उत्पन्न हो जाती है। ताजी समस्या ऑक्सीजन प्लांट को लेकर आई है। अब दो साल पहले स्थापित ऑक्सीजन प्लांट खराब हो गया है। इस वजह से वैकल्पिक व्यवस्था के तहत सिलेंडर लगाए गए हैं, ताकि ऑक्सीजन के अभाव में किसी मरीज को कोई परेशानी न हो। जानकारी के मुताबिक, शुक्रवार रात ऑक्सीजन प्लांट में तकनीकी खराबी आने के कारण यह बंद हो गया। हालांकि इसे ठीक करने के लिए कर्मचारियों ने अपने स्तर पर माथापच्ची भी की थी, लेकिन कोई सफलता नहीं मिली। अब बाहर से इंजीनियर के आने के बाद ही यह सुचारू हो पाएगा। फिलहाल, सारा दारोमदार ऑक्सीजन सिलेंडरों पर टिक गया है। इस प्लांट का संचालन करने के लिए अस्पताल में स्थाई कर्मचारी ही तैनात नहीं है। किसी एजेंसी के मार्फत कर्मचारी रखे हुए हैं,लेकिन उनको भी नियमित रूप से वेतन नहीं मिलता है।
बिछी हुई हैं लाइनें
जानकारी के मुताबिक, इस प्लांट से ही ऑक्सीजन का उत्पादन होता है। इसको ऑपरेशन थियेटर तथा अन्य वार्डों में मरीजों तक पहुंचाने के लिए प्लांट से लाइन बिछाई गई है। इस लाइन द्वारा ऑक्सीजन की आपूर्ति की जाती है। दो साल पहले ही इस प्लांट को स्थापित किया गया था। तथ्य यह भी है कि स्थापित होने के बाद से ही यह प्लांट अक्सर खराब होता रहा है। लिहाजा, अस्पताल प्रशासन बाहर से मंगाए ऑक्सीजन सिलेंडरों के भरोसे ही रहता है।
तोड़फोड़ वालों का अब तक नहीं चला पता
गौरतलब है कि पिछले दिनों अस्पताल में अकारण ही कुछ लोगों ने तोड़फोड़ कर दी थी। उनका भी अभी तक पता नहीं चला है। अस्पताल प्रशासन ने भी घटना के करीब दस दिन बाद पुलिस को सीसीटीवी फुटेज दिए, लेकिन अभी तक कोई सुराग हाथ नहीं लगा है। हाल में एसी प्लांट भी कई दिनों तक खराब रहा था, जिससे डॉक्टरों को ऑपरेशन भी पसीने में लथपथ हालत में करने पड़े। इतना ही नहीं, हालात यह हैं कि एसएसबी के ऐसे ही हालात के चलते शायद कोई जिम्मेदार शख्स इस इकाई के अधीक्षक पद का दायित्व संभालने को तैयार नहीं होता।