देवेंद्र वाणी न्यूज़, बीकानेर। जिले में एक लड़की ने दो युवकों को अपने पे्रम जाल में फंसाकर उनके रुपये ऐंठे जब उन्होंने रुपये देने से इंकार किया तो उनको झूठे बलात्कार के मामले में फंसाने की धमकी दे डाली जबकि एक स्वर्ण व्यापारी के बेटे पर उसने दुष्कर्म करने का आरोप लगाते हुए मामला दर्ज करवाया दिया है। जबकि दूसरे युवकों पर भी बलात्कार का झूठा मुकदमा दर्ज करवाया दिया है। लड़के ने लड़की के खिलाफ सदर थाने में मामला दर्ज करवाया है लड़की उसे झू्रठे प्रेम जाल में फंसाकर बलात्कार का मुकदमा दर्ज करवाकर उससे 8.5 लाख रुपये हड़प लिये है। सदर थाना पुलिस से मिली जानकारी के अनुसारा जिरवान पुत्र अब्दुल रसीद पठान निवासी मुक्ता प्रसाद जिसने एक युवती पर मामला दर्ज करवाया है। शहर में कई ऐसी लड़कियां है जो इस तरह का कारोबार करती है जब उनके रुपये देने से इंकार करती है तो वह लड़कों को बलात्कार के झूठे मामलों में फंसाकर पुलिस से तालमेल बिठाकर उनसे रुपये ऐंठते है।
शहर में चल रहे सैक्स रेकेट होटलों को बना रखा अड्डा
इस मामले में पुलिस को दी रिपोर्ट में जिरवान ने यह भी आरोप लगाया है कि युवती हनीट्रेप में उलझाकर रुपये मांगने वाली आदतन है यह एक अनैतिक आचरण वाली महिला के साथ मिलकर सैक्स रेकेट चला रही है कई होटलों को इन्होंने अपने अड्डे बना रखे है इन होटलों की छानबीन होनी चाहिए रिजवान ने कई जनों के नामों का जिक्र करते हुए कहा कि हनीट्रेप गिरोह चलाने वाली युवतियों ने शहर के एक नामी प्रोपटी डीलर नोखा के एक नामी क्रिकेट बुकी को अपने जाल में फंसाकर रुपये वसूल चुकी है। लेकिन वह डर के मारे पुलिस तक नहीं पहुंचे और इन युवतियों के हौसले इतने बुलंद हो गये कि अब इन्होंने एक गिरोह बनाकर शहर के नामी लोगों को अपने प्रेेम जाल में फंसाकर उनसे रुपये मांगती जब रुपये नहीं देते तो उन पर बलात्कार का मामला दर्ज करवाकर उनको बदनाम करती है।
युवतियों से पुलिस का तालमेल
कई देखा जाता है युवक जब किसी युवती के खिलाफ मामला दर्ज करवाना जाता है तो पुलिस उसका मामला दर्ज नहीं कर सीधे युवती से सांठगांठ करती है और युवकें के द्वारा दी गई रिपोर्ट मामला दर्ज नहीं करते है और युवती से युवक पर झूठा दुष्कर्म जैसे गंभीर मामले दर्ज करवाती है ऐसे स्वर्ण व्यापारी के मामले में हुए था जिसमें एफआई में बताया गया कि घटना का स्थान जेएनवीसी थाना आता है जबकि मामला नयाशहर पुलिस थाने में दर्ज हुआ और वो भी रात को 2.30 बजे दर्ज हुआ आम आदमी का मामला दिन में दर्ज नहीं होता है। ऐसे में यह प्रतीत होता है कही ना कही पुलिस भी ऐसे मामलों मे तह तक नहीं जाती है कि दोनों में कौन गलत है और कौन सही है।